ये सुबह का सिनेमा है..
रात के अंधेरों से निकलकर हम अब सुबह का सिनेमा रचेंगे जो एक नए इतिहास का साक्षी होगा.
वो सिनेमा अब उबासी के साथ नहीं सुबह की सैर के सँग खुशनुमा होगा. वो हमारी जिंदगी में ताजगी लेकर आएगा.
रात के अंधेरों से निकलकर हम अब सुबह का सिनेमा रचेंगे जो एक नए इतिहास का साक्षी होगा.
वो सिनेमा अब उबासी के साथ नहीं सुबह की सैर के सँग खुशनुमा होगा. वो हमारी जिंदगी में ताजगी लेकर आएगा.
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